काम कुछ ऐसा किया जाये,
क्यों न जाम छलकाए जाये.
हो जाये गुम मदहोशी में,
चलो आज ज़रा झूमा जाये.
लिया जाये मज़ा बहकने का,
कोई ना मुझे अब बुलाये.
साकी तू अब हो जा तैयार,
मेरा जाम मुझे आवाज़ लगाये.
तू रुकना नहीं ज़रा सा भी,
पीलाने का काम करता जाये.
मुझे डूबना है इस सागर में,
पैमाने को तू अब भरता जाये.
मै हू उदासी मै डूबा आज,
तू मुझे बस पिलाता जाये.
बता देना मुझे उस वक्त,
जब मेरा होश मुझे जवाब दे जाये.
तुम बस रूह से हमें अपनाने लगो
14 years ago




nice yar.. gud...
ReplyDeletegud one friend..
ReplyDeletebahut khub ... sunder..
ReplyDelete